श्रीमद् भगवद् गीता तृतीय अध्याय कर्मयोग
व्यामिश्रेणेव वाक्येन बुद्धिं मोहयसीव मे |
तदेकं वद निश्चित्य येन श्रेयोऽहमाप्नुयाम् || २ ||
vyāmiśhreṇeva vākyena buddhiṁ mohayasīva me
tad ekaṁ vada niśhchitya yena śhreyo ’ham āpnuyām
Hindi Translation:- आप मिले हुए वचनों से मेरी बुद्भि को मानो मोहित कर रहे हैं। इसलिये उस एक बात को निश्चित करके कहिये, जिससे मैं कल्याण को प्राप्त हो जाऊँ।
English Translation:- I am confused dear Lord, by the advice you have given to me. You have told me to take two opposite and different courses of action at once. Please, O KRISHNA, tell me of just one wise solution and course of action that would lead out of this problem safely.
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